तीन स्तरीय सुरक्षा घेरे के तहत 3,000 से अधिक सुरक्षाकर्मियों की तैनाती: आईजी

जगदलपुर, 12 दिसम्बर। बस्तर में नक्सलवाद की समाप्ति और क्षेत्र में शांति स्थापित करने के उद्देश्य से बस्तर ओलंपिक का आयोजन किया जा रहा है. यह आयोजन न केवल बस्तर के युवाओं को नक्सलवाद के प्रभाव से बचाने का प्रयास है,बल्कि उन्हें देशप्रेम,एकता और विकास की मुख्यधारा से जोड़ने का भी एक महत्वपूर्ण कदम है.
बस्तर कलेक्टर के हरिश ने आज पत्रकारों से चर्चा करते हुए कहा कि पिछले दो महीनों से बस्तर के विभिन्न जिलों में इस ओलंपिक का आयोजन किया जा रहा था.पहले ब्लॉक स्तर, फिर जिला स्तर पर खेलों का आयोजन हुआ, और अब 13 से 15 दिसंबर तक संभाग स्तर पर इसका अंतिम चरण आयोजित किया जाएगा.ओलंपिक में पारंपरिक और आधुनिक खेलों को शामिल किया गया है,जिनमें कबड्डी, खो-खो, फुटबॉल, वॉलीबॉल, तीरंदाजी आदि प्रमुख हैं. बस्तर ओलंपिक में देश-विदेश के जाने-माने खिलाड़ी शिरकत करेंगे.साथ ही, उन पूर्व नक्सलियों को भी विशेष रूप से आमंत्रित किया गया है,जिन्होंने नक्सलवाद का त्याग कर मुख्यधारा में वापसी की है और आज विभिन्न राजनीतिक और सामाजिक पदों पर सेवा दे रहे हैं.यह आयोजन उनके लिए भी एक मंच होगा, जहां वे अपनी कहानी साझा कर समाज में बदलाव का संदेश देंगे.केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह 15 दिसंबर को बस्तर ओलंपिक के समापन समारोह में शामिल होंगे.उनका यह दौरा नक्सल प्रभावित क्षेत्र में केंद्र और राज्य सरकार के संयुक्त प्रयासों की समीक्षा के लिहाज से बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है.शाह बस्तर में आत्मसमर्पण कर चुके नक्सलियों के पुनर्वास कार्यक्रम और ग्रामीण क्षेत्रों में चल रहे विकास कार्यों की प्रगति का जायजा लेंगे

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