जगदलपुर , 15 नवम्बर । ये जनजातीय कल्चर है जनाब! गोरे लोग यानि विदेशी भी इसे सलाम करते हैं। हम यह बात यूं ही नहीं कह रहे हैं। यह तस्वीर इस सच्चाई को खुद बयां कर रही है। बस्तर भ्रमण पर आई एक विदेशी महिला सैलानी बस्तर की संस्कृति की इस कर दीवानी हो गई कि वह जनजाति गौरव दिवस पर जगदलपुर में आयोजित कार्यक्रम में बस्तर की परंपरागत पोशाक पहन कर और हाथों में कुहकी वाद्य यंत्र लेकर पहुंच गई। यह तस्वीर बताती है कि मेरा बस्तर महान है।
धरती आबा भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती के पावन अवसर पर आयोजित जनजातीय गौरव दिवस कार्यक्रम में शामिल होने पहुंचे मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय का आज जगदलपुर के सिटी ग्राउंड में विभिन्न जनजातीय समाज के प्रमुखों द्वारा आत्मीय स्वागत किया गया। इस दौरान मुख्यमंत्री का पारंपरिक सिहाड़ी माला, पगड़ी (साफा) और एक विशाल गजमाला भेंट कर सम्मान किया गया, जिसने पूरे आयोजन में सांस्कृतिक उल्लास भर दिया। इस अवसर पर विदेशी सैलानियों ने भी आदिवासी वेसभूसासे प्रभावित होकर इसे पहने हुए नजर आये .
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